Rig Veda PDF Download – वेदों को विश्व के सबसे प्राचीन इतिहास में माना जाता है। भारतीय संस्कृति में कुल चार वेद हैं जिनमें जिनमें सिर्फ भारत के प्राचीन इतिहास ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया और मानव के इतिहास का वर्णन है। वेदों की श्रृंखला में ऋग्वेद सबसे पहला वेद है। रिग का अर्थ होता है स्थिति और वेद का अर्थ होता है ज्ञान।l ऋग्वेद की रचना किसी एक समय यह एक व्यक्ति के द्वारा नहीं किया गया है। विभिन्न समय में अनेक ऋषि महा ऋषि द्वारा अलग-अलग समय काल पर ऋग्वेद की रचना की गई है। ऋग्वेद में कुल 10 अध्याय, 1028 सूक्त और लगभग 11000 मंत्र हैं जिनमें कई सारी महत्वपूर्ण कथाओं और जानकारियों को दिया गया है।
ऋग्वेद पहला ऐसा वेद है जो पूरी तरह से अध्यात्मिक है यानी कि इसमें सब कुछ है ऋग्वेद अपने आप में ज्ञान का भंडार है। ऋग्वेद यानी कि ऐसा ज्ञान जो रिचाओ में बद्ध हो यानी कि जो सभी तरह की ज्ञानो से परिपूर्ण हो। भारतीय संस्कृति के बाकी 3 वेदों की रचना भी ऋग्वेद से ही हुई है। ऋग्वेद इस दुनिया का सबसे प्रथम ग्रंथ और सबसे प्रथम धर्म ग्रंथ है इसमें मंत्रों की रचना किसी एक ऋषि के द्वारा किसी एक निश्चित समय में नहीं किया गया है। दोस्तों यदि आप वेदों को जानने में रुचि रखते हैं और ऋग्वेद के बारे में पूरी विस्तार से जानना चाहते हैं तो आज का हमारा यह लेख आपके लिए ही है और आप बिल्कुल सही जगह पर आए हैं। आज के इस लेख के माध्यम से हम आपको ऋग्वेद के बारे में जानकारी देंगे और यदि आप ऋग्वेद को डाउनलोड करके इसे पूरा पढ़ना चाहते हैं तो हमारे द्वारा दी गई लिंक के जरिए ऋग्वेद की पीडीएफ को डाउनलोड कर सकेंगे। तो दोस्तों बने रहिए अंत तक हमारे इस लेख के साथ।
Book Name | Rig Veda |
Mantra | 11000 |
Chapter | 10 |
Shukt | लगभग 1028 |
Downloads | 6537 downloads |
Rig Veda PDF in Hindi
ऋग्वेद में कुल 10 मंडल अर्थात 10 अध्याय है जिनमें लगभग 11,000 मंत्रों को दिया गया है। ऋग्वेद की कुल पांच अलग-अलग प्रमुख शाखाएं हैं जिनमें अलग-अलग विषयों के बारे में ज्ञान प्राप्त होता है।ऋग्वेद के दसों मंडल की रचना बहुत सारे ऋषियों के द्वारा मिलकर किया गया था। ऋग्वेद की रचना संभवत शब्द से दो प्रदेश में हुई थी।ऋग्वेद का उपवेद आयुर्वेद है। वर्तमान में ऋग्वेद के 10 उपनिषद पाए जाते हैं जो ऋग्वेद से ही कहीं ना कहीं प्रेरित है। ऋग्वेद एक ऐसा वेद है जिसमें चारों वेदों का ज्ञान है यदि कोई व्यक्ति ऋग्वेद को पड़ता है तो उसे चारों वेदों का ज्ञान प्राप्त हो जाता है।
UNESCO ने ऋग्वेद के पंद्रह सौ साल से 2000 साल ईसा पूर्व के पांडुलिपियों को सांस्कृतिक धरोहर के रूप में शामिल किया है जिसके अंतर्गत इनका संरक्षण UNESCO के द्वारा किया जाता है।
Rig Veda मे क्या लिखा है?
ऋग्वेद इस दुनिया का सबसे बड़ा और प्रथम ग्रंथ और धर्म ग्रंथ है। ऋग्वेद में आर्यों की राजनीति और उनके इतिहास के बारे में जानकारी प्राप्त होती है। इसमें भौगोलिक स्थिति के साथ-साथ देवताओं के आवाहन मंत्रों के साथ भी बहुत सारी महत्वपूर्ण जानकारियां दी गई है। ऋग्वेद में मानव सभ्यता की शुरुआत की व्याख्या भी की गई है।
ऋग्वेद की ऋचाओं में देवताओं की प्रार्थना स्थितियों और देवलोक में देवताओं की स्थिति का वर्णन है। ऋग्वेद उस समय के हिसाब से अपने समय से काफी आगे था और हम इसका अंदाजा इस बात से लगा सकते हैं कि ऋग्वेद में जल चिकित्सा वायु चिकित्सा के साथ-साथ सौर चिकित्सा जैसे महत्वपूर्ण विषय के बारे में भी जानकारी दी गई है। इसके अलावा ऋग्वेद में मानस चिकित्सा और हवन के द्वारा चिकित्सा आदि की जानकारी भी इसमें दी गई है। ऋग्वेद में चमन ऋषि को पुनः युवा करने की कथा के बारे में बताया गया है। ऋग्वेद में यातुधानों को यज्ञ में बाधा डालने वाला और पवित्र आत्माओं को कष्ट पहुंचाने वाला कहा गया है। यातुधानो को अपवित्र माना गया है
Conclusion
आज का हमारा यह लेख ऋग्वेद के ऊपर केंद्रित था। आज के इस लेख में हमने आपको ऋग्वेद से जुड़ी जानकारियां दी। यदि आप ऋग्वेद को पूरा पढ़ना चाहते हैं तो हमारे द्वारा दी गई लिंक के जरिए आप इसकी पीडीएफ को डाउनलोड करके इसे पूरा पढ़ सकेंगे।
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